कवर्धा : कवर्धा में हुई हिंसा के बाद अब सरकार एक्शन में है। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने साफ कह दिया है कि उपद्रव के पीछे जो कोई भी हो, उसे बख्शा नहीं जाए। ऐसे लोगों के नाम भी मीडिया के जरिए सबके सामने लेकर आएं, जिससे लोग जान सकें। साथ ही जिले को फिर से पटरी पर वापस लाने की कोशिशें तेज हो गई हैं। जिला प्रशासन ने शनिवार से कर्फ्यू में 3 घंटे की ढील देने की घोषणा कर दी। इसके लिए आज मुनादी कराई गई है। वहीं समाज के सहयोग से शांति मार्च भी निकाला गया।
बघेल ने शुक्रवार को हाईलेवल मीटिंग ली। इसमें कवर्धा कलेक्टर और एसपी के साथ ही प्रभारी मंत्री भी शामिल हुए। बैठक में CM बघेल ने दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने के निर्देश दिए। CM ने कहा कि छत्तीसगढ़ शांति प्रिय प्रदेश है। जो कोई भी इस घटना का जिम्मेदार हो उसे उजागर करें।
कल से सुबह 7 बजे से 10 बजे तक मिलेगी छूट
प्रशासन लगातार अपनी ओर से स्थिति को संभालने का प्रयास कर रहा है। इसके तहत शहर के अलावा पूरे जिले में छूट दे दी गई है। वहां पर फिर सब कुछ सामान्य है। अब शहरी इलाके में भी शनिवार सुबह 7 बजे से 10 बजे तक कर्फ्यू में ढील देने की घोषणा की गई है। इसके लिए जगह-जगह मुनादी कराई गई है। हालांकि दुकानों को खोलने और सामान की डिलीवरी को लेकर कोई गाइडलाइन जारी नहीं हुई है। वहीं पुलिस ने विभिन्न वर्गों के साथ मिलकर शांति मार्च निकला, जो कि नगर पालिका से होते हुए हिंसा वाले इलाकों में गया।
जब धारा-144 लागू थी तो रैली की अनुमति किसने दी?
इस पूरे उपद्रव के बाद अब छत्तीसगढ़ अल्पसंख्यक आयोग भी सक्रिय हो गया है। आयोग के अध्यक्ष महेंद्र छाबड़ा ने कवर्धा कलेक्टर को पत्र लिखकर 9 बिंदुओं पर जानकारी मांगी है। 7 अक्टूबर को लिखे गए इस पत्र में पूछा गया है कि दंगा भड़काने के मूल कारण क्या था? क्या अब स्थिति नियंत्रण में है? माना जा रहा है कि आयोग की टीम जिले का दौरा कर सकती है।
झंडा लगाने को लेकर शुरू हुआ था हंगामा
पूरा विवाद वार्ड नंबर 27 के लोहारा नाका चौक इलाके में झंडा लगाने को लेकर शुरू हुआ था। रविवार दोपहर कुछ युवकों ने अपना झंडा चौराहे पर लगा दिया। इसी बात को लेकर दो गुटों के युवक सड़क पर लाठी-डंडे लेकर उतर आए। एक दूसरे को पीटा। पत्थरबाजी हुई। पुलिस की आंखों के सामने एक युवक को भीड़ पीटती रही। मारपीट में 8 लोग घायल हुए हैं। इनका इलाज कवर्धा के अस्पताल में कराया जा रहा है। इसके बाद सोमवार को शांति समिति की बैठक भी बुलाई गई थी।