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केशकाल में स्वास्थ्य विभाग द्वारा किया गया जैपनीज़ इंसेफेलाइटिस का टीकाकरण अभियान का शुभारंभ 

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प्रकाश नाग/ केशकाल : राज्य सरकार द्वारा जैपनीज़ इंसेफेलाइटिस (मस्तिष्क ज्वर) जैसी खतरनाक बीमारी से बचाव के टीकाकरण हेतु प्रदेश के पांच जिलों को चयनित किया गया है, जिसमें कोंडागांव जिले को भी स्थान दिया गया है। इसी क्रम में सोमवार को केशकाल विकासखंड अंतर्गत शासकीय कन्या स्कूल में टीकाकरण शिविर लगाकर 1 से 15 वर्ष तक के बच्चों को जैपनीज़ इंसेफेलाइटिस (मस्तिष्क ज्वर) से बचाव हेतु टीका लगाया गया। इस अभियान के तहत केशकाल विकासखंड क्षेत्र अंतर्गत कुल चौबीस हजार बच्चों को टीका लगाया जाएगा। बता दें कि जापानी इन्सेफेलाइटिस एक बहुत ही खतरनाक बीमारी है, जो मच्छरों के काटने से फैलता है। जापानी इन्सेफेलाइटिस की अधिकांश घटनाएं ग्रामीण क्षेत्रों में देखने को मिलती है। किंतु शहरों में भी यह बीमारी धीरे धीरे अपना पैर पसार रही है। जिसको लेकर 23 नवम्बर सोमवार से जिले में जापानी इंसेफेलाइटिस के टीकाकरण का शुभारंभ किया जाएगा और यह अभियान 18 दिसंबर लगातार चलेगा।
टीकाकरण हेतु प्रदेश भर से चयनित 5 जिलों में कोंडागांव जिले को भी मिला स्थान
जिला टीकाकरण अधिकारी डॉ. डी.के  बिसेन ने जानकारी देते हुए बताया कि 23 नवम्बर सोमवार से कोंडागांव जिले में जैपनीज़ इंसेफेलाइटिस (मस्तिष्क ज्वर) का टीकाकरण किया जा रहा है। इस समारोह का उद्घाटन केशकाल में स्थानीय जनप्रतिनिधियों, गणमान्य नागरिकों व समाज प्रमुखों की उपस्थिति में किया गया है। कोंडागांव जिले में 1 से 15 वर्ष तक कि उम्र वाले कुल 1 लाख 58 हजार बच्चों को टीका लगाया जाना है। इसके तहत 23 नवम्बर से 18 दिसंबर तक जिले के प्रत्येक ब्लॉक के गांव गांव जाकर शिविर लगाकर बच्चों को ठीका लगाया जाएगा। जिसमें स्वास्थ्य अमला, आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, शिक्षक गण के सहयोग से यह टीकाकरण अभियान चलाया जा रहा है।
नगर पंचायत अध्यक्ष ने पलकों से किया बच्चों को ठीक लगवाने की अपील
केशकाल नगर पंचायत के अध्यक्ष रोशन जमीर खान ने बताया कि जैपनीज़ इंसेफेलाइटिस के टीकाकरण के लिए पूरे राज्य में से केवल 5 जिलों को चुना गया है जिसमे से कोंडागांव जिला भी शामिल है। जिला टीकाकरण अधिकारी डॉ. बिसेन के नेतृत्व में इस कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया है। मैं क्षेत्र के समस्त पलकों से अपील करता हूं कि जिनके घरों में 1 से 15 वर्ष तक की उम्र के बच्चे हैं उन्हें अनिवार्य रूप से यह टिका लगवाएं यह भविष्य में बच्चों की सेहत के लिए काफी लाभदायक साबित होगा।
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