रायपुर। पीसीसी ने भले ही बीरगांव नगर निगम में महापौर व सभापति चुनने के लिए कांग्रेस नेता रवि घोष व मोतीलाल देवांगन को पर्यवेक्षक बना दिया है लेकिन वहां महापौर वहीं बनेगा जिसे विधायक सत्यनारायण शर्मा ओके करेंगे। इस लिहाज से पहला नाम तीन बार के कांग्रेस पार्षद नंदलाल देवांगन का नाम लिया जा रहा है। हालांकि वे जकांछ के डा.ओमप्रकाश देवांगन के भाई लगते हैं ,लेकिन दो साल बाद होने वाले विधानसभा चुनाव के मद्देनजर श्री शर्मा यदि अपना दांव चलते हैं तो देवांगन का नाम तय है। वैसे भी मुख्यमंत्री बघेल ने अपनी सभा के दौरान संकेत दिया था कि कोई ओबीसी यहां से महापौर होगा। सभापति के लिए इकराम अहमद का नाम आ रहा है लेकिन कुछ विरोध भी उनके नाम पर है।
चुनाव के नतीजे आ जाने के बाद महापौर पद के लिए जोड़-तोड़ की कवायद तेज हो गई है। तीन निर्दलीय पार्षदों के समर्थन देने के बाद अब कांग्रेस निश्ंिचत हैं कि महापौर उनका ही बनेगा। नंदलाल देवांगन वार्ड 25 से जीतकर आए हैं। वे कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और क्षेत्रीय विधायक सत्यनारायण शर्मा के करीबियों में शुमार हैं। वे बीरगांव से तीसरी बार पार्षद चुने गए हैं। बताया जा रहा है, विधानसभा चुनाव में उतरने से पहले कांग्रेस यहां देवांगन को महापौर बनाकर पिछड़ा वर्ग के मतों के ध्रुवीकरण के प्रति आश्वस्त हो जाना चाहती है।
पार्टी सूत्रों के मुताबिक वार्ड 9 से जीतीं भारती नंदू चंद्राकर और वार्ड 35 के संतोष कुमार साहू भी महापौर पद के लिए दावेदारी कर रहे हैं। इनको कुछ पार्षदों का समर्थन भी हासिल है। महापौर पद के लिए चल रही माथापच्ची पर फिलहाल पदाधिकारियों ने चुप्पी साध ली है। बीरगांव नगर निगम में सभापति पद के लिए वार्ड 28 से जीते इकराम अहमद के नाम की चर्चा है। इकराम इस चुनाव में सबसे बड़े अंतर से जीते हैं। हालांकि पार्टी के भीतर उनको सभापति बनाए जाने पर कुछ आपत्तियां भी आ रही हैं।