- मामला ग्राम पंचायत उमरगांव का
- पंच ने छीना गरीब मजदूरों के मुँह का निवाला
राजशेखर नायर/ नगरी। त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव हुए मुश्किल से साल भर ही बिता है और इस कम समय में पंचायत प्रतिनिधियों के काले कारनामें उजागर हो रहे है। मामला है नगरी विकासखंड के ग्राम पंचायत उमरगांव का जहाँ के वार्ड क्रमांक 12 के एक महिला पंच ने मनरेगा अंतर्गत ग्राम में हुए विभिन्न निर्माण कार्यों में न सिर्फ अपना नाम बल्कि अपने सास ससुर तक का फर्जी हाजिरी मस्टररोल में भरवाया है और राशि तक आहरण की जा चुकी है। इस सम्बन्ध में जब ग्रामीणों को पता चला तो उन्होंने जनदर्शन में लिखित शिकायत पत्र कलेक्टर को सौंपकर सम्बंधित पंच को तत्काल बर्खास्त कर नियमानुसार क़ानूनी कार्यवाही करने की मांग की है।उमरगांव के ग्रामीण महेश अग्रवाल, लिलम्बर शेष ग्राम पटेल, ओमप्रकाश नेताम, अंगेश हिरवानी, देवेन्द्र सेन ने बताया की उक्त पंच एवं उनका परिवार आज तक ग्राम पंचायत में हुए मनरेगा कार्यों में उपस्थित तक नही हुए और वित्तीय वर्ष 2020-21 में उनका एवं उनके परिवार के नाम पर 40 दिन का हाजिरी दिखा रहा है, जिन कार्यो में उन लोगो का नाम है वे सभी मजदूरी मूलक कार्य है।ग्राम उमरगांव के किसी भी व्यक्ति को यदि पूछा जाये की उक्त लोगो ने गोदी मजदूरी का कार्य किये हैं तो हर कोई हैरान हो जायेगा।वार्ड पंच द्वारा किया गया यह कृत्य मनरेगा अधिनियम 2005 का सरासर उल्लंघन है तथा अधिनियम के प्रावधानों के अनुसार दोषी व्यक्ति पर क़ानूनी कार्यवाही की बात कही गयी है।ग्रामीणों ने उच्चाधिकारियों से मांग की है कि ऐसे प्रतिनिधि जो अपने पद का दुरूपयोग कर गरीब मजदूरों के मुँह का निवाला छीनते है ऐसे लोगो पर तत्काल जाँच कमेटी तैयार कर दोषी के विरुध्द क़ानूनी कार्यवाही कर पद से बर्खास्त करने की मांग की हैं।जनदर्शन में लिखित शिकायत करने वालों में बेददास मानिकपुरी, नरेश सिन्हा, मेघराज ध्रुव, सत्यनारायण साहू, कृष्णा वैष्णव, केशनाथ पुजारी, प्रह्लाद मरकाम, मिथलेश ध्रुव, मोंटू मरकाम, गजेन्द्र साहू सहित ग्रामवासी शामिल रहे।