देश दुनिया वॉच

यूपी कांग्रेस अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू के खिलाफ जारी गिरफ्तारी वारंट कोर्ट ने निरस्त किया, 20 हजार का मुचलका भरना होगा

Share this

लखनऊ : यूपी कांग्रेस के अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू के खिलाफ जारी किए गए वारंट को कोर्ट ने सशर्त निरस्त कर दिया है. कोर्ट ने सशर्त वांरट निरस्त करते हुए इन्हें 20 हजार का निजी मुचलका दाखिल करने का आदेश दिया है. अजय लल्लू के खिलाफ मानहानि के एक आपराधिक मामले में एमपी-एमएलए की विशेष अदालत से ये वारंट जारी किया गया था लेकिन सोमवार को वे कोर्ट में पेश हुए जिसके बाद इसे निरस्त कर दिया गया. अजय कुमार लल्लू सोमवार को एमपी-एमएलए की विशेष अदालत पहुंचे और अपने खिलाफ जारी गिरफ्तारी वारंट निरस्त करने की अर्जी दाखिल की. विशेष जज पवन कुमार राय ने सशर्त वांरट निरस्त करते हुए इन्हें 20 हजार का निजी मुचलका दाखिल करने का आदेश दिया. उन्होंने अभियुक्त अजय को इस बात की अंडरटेकिंग भी दाखिल करने का आदेश दिया कि वह इस मामले की सुनवाई पर उपस्थित रहेंगे. साथ ही गवाह के आने पर किसी तरह का स्थगन अर्जी दाखिल नहीं करेंगे. बीते 11 अक्टूबर को विशेष अदालत ने इनके खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी करने का आदेश दिया था.

क्या है मामला?
बता दें कि मानहानि का यह मामला उर्जा मंत्री श्रीकांत शर्मा ने दर्ज कराया था. सात फरवरी, 2020 को विशेष अदालत ने उनके परिवाद पर संज्ञान लेते हुए बतौर अभियुक्त अजय कुमार लल्लू को आईपीसी की धारा 500 के तहत अपराध के विचारण के लिए जरिए समन तलब किया था. अजय कुमार लल्लू पर आरोप लगाया गया है कि चार नवंबर, 2019 को विधान परिषद सदस्य और यूपी कांग्रेस के अध्यक्ष ने प्रिंट व इलेक्टानिक मीडिया में उनके खिलाफ असत्य दुर्भावनापूर्ण व भ्रामक बयान जारी किया था. जो विभिन्न न्यूज चैनलों पर प्रसारित हुआ. साथ ही अगले दिन अनेक सामाचार पत्रों में भी उनका बयान प्रकाशित हुआ. इससे आम लोगों तक गलत जानकारी पहुंची. इस मामले में श्रीकांत शर्मा की गवाही दर्ज हो चुकी है. सोमवार को श्रीकांत शर्मा की ओर से राजीव कृष्ण ने अपनी गवाही दर्ज कराई गई. अब मामले की अगली सुनवाई 30 अक्टूबर को होगी.

श्रीकांत शर्मा ने क्या कहा? क्या था बयान
ऊर्जा मंत्री ने आरोप लगाया है कि आरोपी अजय कुमार लल्लू यूपी कांग्रेस के अध्यक्ष ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के माध्यम से उनके ऊपर मिथ्या एवं राजनीतिक से प्रेरित आरोप लगाए हैं कि गरीब जनता की बिजली कुछ सौ रुपए बकाया पर कटवा देने वाले मंत्री बिजली विभाग के खजाने से हजारों करोड़ रुपये देशद्रोही दाऊद इब्राहिम और इकबाल मिर्ची से जुड़ी कंपनियों को देते हैं. ऊर्जा मंत्री श्रीकांत शर्मा ने बयान दिया है कि लल्लू ने उनके संबंध में जो भी आरोप लगाए गए हैं उसकी जांच होनी चाहिए कि सितंबर और अक्टूबर 2017 में ऊर्जा मंत्री किस उद्देश्य दुबई गए थे और वहां किन-किन लोगों से मुलाकात की. मीडिया के सामने लल्लू ने कहा था कि यह दौरा उसी समय का है जब डीएचएफएल का पैसा सनब्लिंक कंपनी को जा रहा था और ऊर्जा मंत्री 10 दिन की इस अधिकारिक यात्रा का उद्देश्य बताएं.

Share this

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *