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आखिरकार खरसिया के विवादीत एसड़ीएम गिरीश रामटेके से नगर को मिली निजात…

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  • भ्रष्टाचार और रिश्वतखोरी शिकायत की अपर कलेक्टर कर रहे थे जांच..

विकास अग्रवाल/खरसिया। लंबेे समय से खरसिया में जमे एसड़ीएम गिरीश रामटेके कोे जिला कलेक्टर ने खरसिया से हटा दिया है। गिरीश रामटेके का विवादों से पुराना नाता रहा है, और खरसिया एसड़ीएम रहते हुये ग्रामीणों ने भ्रष्टाचार और रिश्वतखोरी का आरोप लगाते हुये मुख्यमंत्री, प्रभारी मंत्री, उच्च शिक्षा मंत्री, छ.ग. शासन को पत्र लिखकर गिरीश रामटेके पर कार्यवाही की मांग की थी। गिरीश रामटेके के तबादले का स्वागत करते हुये शिकायतकर्ताओं ने मुख्यमंत्री, प्रभारी मंत्री, उच्च शिक्षा मंत्री, छ.ग. शासन का आभार जताया है।
गौरतलब है कि गिरीश रामटेके के भ्रष्टाचार से त्रस्त होकर खरसिया क्षेत्र के ग्रामीणों ने एसड़ीएम के खिलाफ मोर्चा खोलते हुये कलेटर के जनदर्शन में 9 बिंदुओं का शिकायत पत्र जिला कलेक्टर को देकर गिरीश रामटेके पर कार्यवाही की मांग की गयी थी। शिकायती पत्र में ग्रामीणों ने गिरीश रामटेके पर गंभाीर ओराप लगाते हुये कहा था कि गिरीश रामटेके के द्वारा राष्ट्रीय राजमार्ग में रायगढ़ जिले के चर्चित भू माफिया को विधिविरूद्व करोड़ो की राशि का भुगतान कर शासन को करोड़ो रूपयों का चूना लगाया गया है, 170 ख के मामले को लटकाने, भाजपा के रसूखदारों को ग्रामीण अंचलों में फ्लाई ऐश गिराने के कार्यों का अनदेखा किये जाने से खरसिया क्षेत्र का पर्यावरण दूशित हो रहा है, एसड़ीएम द्वारा अपने चहेते लोगों को सांठगांठ कर बहुमूल्य नजूल भूमि को विधिविरूद्व बंदरबांट किया गया है, कोरोना काल में हजारों रूपये लेकर दुकानदारों को दुकान खोलने की अनुमति दी गयी, भूमि ड़ायवर्सन के मामलों में रिश्वत लेकर कार्य किया जाता है जो नहीं मिलने पर प्रकरणों को बेवजह लंबित कर दिया जाता है, 151 के मामलों में रिश्वत लेकर जमानत दी जाती है और रिश्वत न मिलने पर जेल भेज दिया जाता है। ग्रामीणों ने सूबे के मुखिया भूपेष बघेल, प्रभारी मंत्री रविन्द्र चौबे, उच्च शिक्षा मंत्री उमेश पटेल, छ.ग. शासन के मुख्य सचिव, जिला कलेक्टर भीम सिंह सहित पुलिस महानिदेशक को शिकायत की प्रति देकर कहा था खरसिया एसड़ीएम गिरीश रामटेके ने अपने कार्यकाल में खरसिया तहसील को रायगढ़ जिले का सर्वाधिक भ्रष्टाचार, विधिविरूद्व कार्यों का गढ़ बना दिया है। गिरीश रामटेके के विरूद्व भ्रष्टाचार अधिनियम के तहत तथा विधिसम्मत दण्ड़ात्मक कठोर कार्यवाही किये जाने की मांग भी क्षेत्रवासियों ने की थी।

जोगी कांग्रेस ने कार्यवाही का किया स्वागत..
तबादला कार्यवाही काफी नहीं, निलंबन की हो कार्यवाही – तरूण सिंह ठाकुर..

गिरीश रामटेके के तबादले का स्वागत करते हुये जोगी कांग्रेस के रायगढ़ लोकसभा अध्यक्ष तरूण सिंह ठाकुर ने कहा कि क्षेत्र की जनता से जुड़ी समस्याओं को लेकर हमारे द्वारा स्थानीय ग्रामीणों के साथ जिला कलेक्टर के जनदर्शन में रिश्वतखोर एसड़ीएम की शिकायत की गयी थी, जिस पर संज्ञान लेते हुये जिले के प्रभारी मंत्री रविन्द्र चौबे जी ने रायगढ़ अपर कलेक्टर को जांच के निर्देश दिये थे, जिसमे उनके द्वारा शिकायतकर्ताओं के बयान लेकर जांच की जा रही थी, लेकिन इतने गंभीर मामलों में सिर्फ अधिकारी का तबादला किया जाना ही पर्याप्त कार्यवाही नहीं है। दोषी अधिकारी को तत्काल निलंबित कर अधिकारी के द्वारा भ्रष्टाचार कर अर्जित की गयी चल अचल संपत्ति की भी जांच की जानी चाहिये जिससे जनमानस में सरकार तथा प्रशासन की निष्पक्ष छ़वि बन सके। वहीं जोगी कांग्रेस के खरसिया विधानसभा अध्यक्ष मोनू केसरी और अजीत जोगी युवा मोर्चा खरसिया ग्रामीण के महामंत्री कमलेश लहरे ने गिरीश रामटेके के तबादले पर हर्ष प्रकट करते हुये जिला कलेक्टर सहित प्रभारी मंत्री का आभार व्यक्त किया है।

कार्यवाही ऐसी हो जो बने मिसाल..

गिरीश रामटेके के खिलाफ क्षेत्रवासियों का आक्रोश भड़कने का कारण क्या था, क्यों अनुविभाग के एक महत्वपूर्ण पद पर पदस्थ अधिकारी के विरूद् ग्रामीणों को जिला कलेक्टर के साथ साथ क्षेत्रीय विधायक, सूबे के मुखिया से गुहार लगानी पड़ी, इस मामले की निष्पक्ष जांच करा कर दोशी पर ऐसी कार्यवाही होनी चाहिये जो नौकरशाहों के लिये एक मिसाल हो और कोई भी अधिकारी अपने पद का दुरूपयोग न करे।

अधिकारी के कार्यकाल की हो जांच..

गिरीश रामटेके के द्वारा खरसिया एसड़ीएम रहते हुये पारित किये गये समस्त आदेश, ड़ायवर्सन सहित समस्त मामलों की जांच भी की जानी चाहिये जिससे ग्रामीणों द्वारा लगाये गये आरोपों की पुष्टि हो सके, तथा भविष्य में कोई भी अधिकारी अपने पद का बेजा लाभ उठाते हुये बेवजह आम जनता को परेशान न करें।

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