तिलकराम मंडावी/डोंगरगढ़ : धान खरीदी के 15 दिन बीत जानें के बाद भी उठाव में तेजी नहीं आनें से अब खरीदी केंद्रों में धान जाम होनें लगा है। उठाव की गति धीमी होनें से यह समस्या बन रही है। डोंगरगढ़ बैंक के अंतर्गत आनें वालें 9 खरीदी केंद्रों में से केवल 6 से ही उठाव षुरू हुआ है। जबकि तीन में बोहनी तक नहीं हुई है। 6 में भी केवल मिलर्स ने ही डिलीवरी षुरू की है, लेकिन परिवहन व्यवस्था धीमा होनें से रोजाना एक-दो ट्रक ही उठाव हो पा रहा है। जबकि मार्कफेड ने तो परिवहन प्रारंभ तक नहीं किया है। इन 9 केंद्रों में एक लाख 59 हजार 612 क्विंटल धान खरीदी हो चुकी है। जबकि 6 केंद्रों से महज 22 हजार 260 क्विंटल धान का उठाव हो पाया है। एक तरफ खरीदी में देरी होनें से किसान पहलें ही परेषान है और अब प्रषासनिक व्यवस्था लचर होनें से टोकन मिलनें में देरी हो रही है। क्योंकि धान का उठाव होनें से ही खरीदी सुचारू रूप से चलेगी। साथ ही बारदाना का संकट तो पहलें ही चल रहा है। हालांकि अब तक किसी भी केंद्र से बारदाना की कमी के चलतें खरीदी बंद होनें की षिकायत तो नहीं आई है, लेकिन बारदाना कम होनें से किसानों को दो-तीन पहलें ही टोकन जारी किया जा रहा है, ताकि बारदाना खत्म होनें पर हंगामा न मचें। अब तक राषन दुकानों में खाली होनें वालें बारदानों से व्यवस्था बना तो ली गई है। लेकिन ऐसी ही स्थिति बनी रही तो कई केंद्रों में खरीदी बंद करनें की नौबत आ सकती है।
ऐसी है ब्लॉक में खरीदी की स्थिति- डोंगरगढ़ ब्लॉक में 20 सोसायटी व एक उपार्जन केंद्र में इस बार धान खरीदी की जा रही है। इनमें डोंगरगढ़ बैंक के अंतर्गत 9 सोसायटियों में 3750 किसानों से 17 दिसंबर तक एक लाख 59 हजार 612 क्विंटल धान खरीदा जा चुका है। वहीं 6 केंद्रों से मिलर्स ने केवल 22 हजार 260 क्विंटल धान उठाया है। बारदानों की स्थिति पर बात करें तो इन 9 केंद्रों में एक लाख 74 हजार 670 बारदानें ही बचत में है। जबकि टोकन लेनें के लिए किसान सोसायटी के चक्कर लगा रहे है। वहीं मोहारा व लालबहादुर नगर बैंक के अंतर्गत आनें वाली सोसायटियों में भी हालात कुछ इसी तरह के बनें हुए है। हालांकि प्रषासन ने दावा किया है कि बारदानों की कमी व उठाव नहीं होनें की खरीदी बिलकुल प्रभावित नहीं होगी।
कोचियों पर नकेल कसनें टीम कर रही मॉनीटरिंग- इधर एसडीएम की निगरानी में ब्लॉक स्तरीय उड़न दस्ता टीम भी गठित की गई है। इनमें राजस्व अफसरों के अलावा कृशि विभाग व कृशि उपज मंडी के आला-अफसर षामिल है। जो खासकर सीमावर्ती खरीदी केंद्रों में नजर रखें हुए है। वहीं अलग-अलग टीम रोजाना सभी केंद्रों में दबिष देकर निगरानी रखें हुए है। बागनदी व बोरतलाव चेक पोस्ट में संदिग्ध वाहनों को रोककर जांच की जा रही है। क्योंकि खरीदी के दूसरें ही दिन बोरतलाव सोसायटी में कोचिया का धान खपानें की फिराक में बूढ़ानछापर के एक कोचियों की गाड़ी जब्त की गई थी। इसलिए पड़ोसी राज्य से लगी सोसायटियों में विषेश रूप से निगरानी रखी जा रही है। हालांकि बोरतलाव सोसायटी में अब तक सबसें कम खरीदी हुई है।
रकबा सुधरवानें किसान हो रहे परेषान, पटवारी हड़ताल पर- खरीदी में गिरदावरी सर्वे को आधार बनानें की वजह से इस बार किसान भी खासें परेषान है। क्योंकि पर्चा में दर्ज रकबा व सर्वे में बुआई के रकबा में मिलान नहीं होनें व लिपिकीय त्रुटि होनें से किसानों को रकबा में सुधार करवाना पड़ रहा है। किंतु 14 दिसंबर से पटवारियों के हड़ताल पर चलें जानें से सारें काम-काज ठप्प हो गए है। ऐसे में किसान को धान बेचनें के लिए मषक्कत करनी पड़ रही है। डायल 112 की सुविधा देनें के बावजूद किसानों को पटवारियों के पास रकबा में सुधार करवानें घूमना पड़ रहा है। राज्य षासन की खरीदी नीति में बदलाव के चलतें इस बार ऐसी परेषानी सामनें आ रही है।
आगें भी समस्या नहीं आएगी- पर्यवेक्षक रामकुमार यादव ने बताया कि सभी केंद्रों में धान खरीदी सुचारू रूप से चल रही है। बारदाना की कमी किसी भी केंद्र में नहीं है। साथ ही उठाव भी प्रारंभ हो गया है। इसलिए आगें भी समस्या नहीं आएगी।