रायपुर : अनुसूचित जाति आयोग के सचिव एस. के. उइके कांकेर विभागीय दौरे पर गये थे इसी दौरान कई लोगों के संपर्क में आए और कोरोना पॉजिटीव हो गये। कांकेर जिला प्रशासन ने तत्काल एंबुलेंस से रायपुर स्थित निवास भेजकर घर में ही रहकर इलाज करो की सलाह दी और शीर्ष अधिकारियों को सूचना देकर ईलाज करने दिशा निर्देश दिया है। पर 24 घंटे के बाद भी पूछने कोई नहीं आया। अनुसूचित जाति आयोग के सचिव उइके को मामूली बुखार, सर्दी, खासी होने के कारण इलाज की जरूरत है प्राथमिक इलाज और शासकीय अस्पतालों में भर्ती की प्रक्रिया के लिए उइके ने कई बार मुख्य चिकित्सा अधिकारी को फोन से संपर्क किया और संपूर्ण स्थिति से अवगत कराते हुए सहायता के लिए आवश्यक कदम उठाने के लिए दिशा निर्देश जारी करने का अनुरोध किया लेकिन 24 घंटे के बाद भी कोरोना मरीज का एक महत्वपूर्ण आयोग के सचिव के साथ जिस प्रकार की उपेक्षा हो रही है तो सामान्य मरीजों के साथ कैसे व्यवहार हो रहा है इसका अंदाजा लगाया जा सकता है।
छत्तीसगढ़ खासकर राजधानी रायपुर में कोरोना के मरीज बढ़ते जा रहे हैं परन्तु उस प्रकार की सुविधा का विस्तार नहीं होने के कारण स्थिति और खराब होती जा रही है। सचिव श्री उइके के कोरोना पॉजिटीव होने की सूचना खुद कांकेर जिलाधीश व कांकेर सीएमओ ने दी और बकायदा प्रतिदिन कोरोना मरीज की सूची में नाम है। सूचना रायपुर में जिम्मेदार अधिकारियों को भी भिजवा दिया गया उसके बाद भी एक आदमी ने हालचाल जानने फोन तक नहीं किय। यह सबकुछ एक जिम्मेदार अधिकारी के साथ हो रहा है तो अन्य कोरोना मरीतों का क्या हाल होगा अंदाजा लगाया जा सकता है।
अनुसूचित जाति जनजाति आयोग के सचिव को कोरोना, ईलाज के लिए तड़प रहे
