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देशी बीजों को सहेजने में जुटे युवा किसान किशोर

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संजय महिलांग/ नवागढ़ : नवागढ़ के युवा किसान किशोर राजपूत देशी बीजों को लुप्त होने से बचाने का काम कर रहे है । वह अनाज के साथ सब्जियों के बीज भी सहेज रहें हैं । किशोर राजपूत देशी बीज संरक्षण संवर्धन के काम विगत पांच वर्षो के सतत प्रयास से अब तक वह 350 देशी किस्मों के बीज देश भर से जुटा चुके हैं। देश के विभिन्न हिस्सों में इस मुहिम को पहुंचाने के काम भी कर रहे हैं। किशोर ऐसे किसानों के खोज में रहते हैं जो अपने खेतों में परम्परागत तौर पर देशी बीजों का उपयोग करते आए हो । उन तक पहुंच कर उन्हें देशी बीज की अवधारणा से अवगत कराते हैं औऱ देशी बीज बचाने में सहयोग के लिए राजी करते है । अब तक देश के कई किसान इस व्यवस्था से जुड़ चुके हैं।
किशोर राजपूत संकर (हाईब्रिड)किस्मों के अंधाधुंध उपयोग औऱ भारी मात्रा में पड़ने वाले रासायनिक खाद व कीटनाशकों के दुष्प्रभाव से वह चिंतित थे ।किशोर बताते हैं कि गौ वंश आधरित आत्मनिर्भर कृषि पद्धति को अपनाने से पर्यावरण के समक्ष उत्पन्न चुनौती से मुक्ति पाई जा सकती हैं ,लेकिन समस्या ये है कि ये बीज बाजार में मुश्किल से मिलता है जिसका समाधान यह देशी बीज बैंक प्रस्तुत करता है।
युवा किसान किशोर राजपूत का पांच साल पहले शुरू हुआ यह प्रयास अपनी गति से आगे बढ़ता चला गया । कश्मीर से कन्याकुमारी औऱ गुजरात से पश्चिम बंगाल तक के किसानों से निरन्तर संपर्क किया। जैविक खेती करने वाले युवा किसान किशोर राजपूत घर में बीज बैंक की स्थापना की है।बीजों को हवा और नमी से बचाकर रखत्ते हैं । उन्होंने एक नियम बनाया है किसान यहां से जितना बीज ले जाए उससे 25 फीसदी अधिक वापस करें ।

देशी बीज से सेहत और स्वाद की पूर्ति

हाईब्रिड बीज की उपज क्षमता भले ही अधिक होती हो,लेकिन इसके लिए रासायनिक खाद का उपयोग करना पड़ता है।जिसके बिना यह सम्भव नहीं हैं । पानी भी अधिक लगता है हाईब्रीड बीज से हम अगले वर्ष के बीज तैयार नहीं कर सकते हैं जबकि देशी बीज से सम्भव है। हाईब्रिड की तुलना में देशी बीज की फसल में रोग प्रतिरोधक क्षमता अधिक होती हैं। देशी बीज से हम रासायनिक खाद का उपयोग कर हम हाईब्रिड की तरह उपज नहीं ले सकते हैं।वहीं हाईब्रिड बीज का उपयोग करने से भूमि की उर्वरा शक्ति कम हो जाती हैं। किशोर के पास अभी बाजरा,मड़वा, कोदो,धान, गेंहू,भिंडी, बैंगन, सेमी,टमाटर, सरसों, सहजन,जंगली लहसुन, लहसुन, जंगली प्याज, सफेद मूसली, काली मूसली, सहित अनेक देशी फसलों के बीज उपलब्ध है

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