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SERIOUS ALLEGATIONS AGAINST CONGREES LEADER: कांग्रेस नेत्री का काला कारनामा भाग 2

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SERIOUS ALLEGATIONS AGAINST CONGREES LEADER: कांग्रेस नेत्री का काला कारनामा भाग 2

कांग्रेस नेत्री ने परिजनों के साथ मिलकर सौतेली बेटी के हक पर मारा डाका

वरिष्ठ नेत्री, रिटायर्ड रेंजर, संकुल प्रभारी एवं सरकारी शिक्षिका षड्यंत्र में है शामिल

बिलासपुर। नगर निकाय चुनाव की घोषणा होते ही सभी प्रत्याशी टिकट पाने के लिए जो कर सकते हैं कर रहे हैं। 2 से 3 दिन के अंदर भाजपा कांग्रेस समेत सभी पार्टियों प्रत्याशियों को लेकर अपने पत्ते खोल देगी। इसी बीच बिलासपुर जरहाभाटा क्षेत्र की कांग्रेस नेत्री और पूर्व पार्षद पर 1 करोड़ से अधिक की संपत्ति को अपने जेठ और देवर देवरानी के साथ मिलकर षडयंत्र पूर्वक हड़पने का आरोप लग रहा है, इस साजिश के तहत महिला नेत्री ने अपने देवर के बेटे को अपनी कोख की पैदाइश साबित करने के लिए कोई कसर नहीं छोड़ी है,आरोप है कि इस पूरी साजिश के तहत महिला नेत्री ने देवर के बेटे को अपना बनाने के लिए जन्म प्रमाण पत्र सहित कई दस्तावेज बनवा रखे हैं, और अपने पति की पहली पत्नी से हुई बेटी को संपत्ति के हक से बेदखल कर दिया है, नेत्री के देवर जो कि संकुल प्रभारी है और उनकी पत्नी जो की एक शिक्षिका हैं उन्हीं के स्कूल में दोनों ने पूर्व में थाने में लिखित बयान दिया है कि उनकी दो बेटियां हैं इसके अलावा कोई पुत्र नहीं है, जबकि उनके एक पुत्र होने का सबूत पीड़ित द्वारा मीडिया कर्मी को दिखाया गया जिसमें बिलासपुर के एक बड़े अस्पताल की डुप्लीकेट डिस्चार्ज टिकट जो की किसी भी मरीज या नवजात शिशु के डिस्चार्ज करते समय अस्पताल द्वारा दिया जाता है जिसमें यह दर्शाया गया है कि एक पुत्र हुआ है जिसके माता-पिता का नाम वही है जो संकुल प्रभारी और उनकी पत्नी का नाम है, मीडिया कर्मियों द्वारा जब उनके स्कूल पहुंचकर इस विषय पर चर्चा की तो उनके पसीने छूट गए और उन्होंने यह स्वीकार किया कि उनका एक पुत्र है और वह उन्हें अपनी भाभी को गोदनामा करके सौंप दिया है। जबकि थाने में लिखित बयान दर्ज कराया है उसमें सिर्फ दो पुत्री होने का दावा किया गया है, पीड़िता ने यह भी बताया की इस सारे खेल का मास्टरमाइंड कांग्रेस नेत्री का जेठ रिटायर्ड रेंजर है, क्योंकि पीड़िता कम पढ़ी लिखी है और कानूनी मामले की कोई भी जानकारी न होने के कारण उसे न्यायालय में भी हार का सामना करना पड़ा है, लापरवाही की हद तो तब है जब पीड़िता के वकील द्वारा एक भी गवाह न्यायालय में पेश नहीं किया गया है, पीड़िता की चार बेटियां हैं, उनके पालन पोषण के लिए भी वह असहाय है, यह सारी कहानी पीड़िता के ननिहाल और अपने पिता के पैतृक गांव में भी सभी को पता है पर खुल के कोई उनके पक्ष में सामने नहीं आ रहा है, पीड़िता के पास पंचनामा जिसमें पांच कोटवार सबके दस्तखत है जिसमें साफ तौर पर पीड़िता को उसके पिता की पुत्री बताया गया है। अब सोचने का विषय यह है कि कांग्रेस नेत्री जो कि गरीबों की मसीहा बनती है, और कई समस्या को लेकर कलेक्टर और समस्या से संबंधित विभाग के अधिकारियों से न्याय की की मांग करती है वही नेत्री एक तरफ अपनी सौतेली बेटी का हक मार कर जैसा कि पीड़िता ने बताया है न्यायालय को भी गुमराह कर दिया है, कांग्रेस की तरफ से पार्षद के टिकट लिए दावेदारी करने वाली ऐसी नेत्री भविष्य में चलकर अपने क्षेत्र वासियों के उत्थान के लिए क्या ईमानदारी से कार्य करेगी? पूर्व में लोकसभा और विधानसभा चुनाव हारने के बाद क्या कांग्रेस अपनी गाइडलाइन के विरुद्ध जाकर ऐसी नेत्री को पार्टी से टिकट देगी, क्योंकि आज नहीं तो कल सच सबके सामने आ ही जाता है

मीडिया कर्मी से बात करने के दौरान पीड़िता और उसके पति भावुक होकर फफक कर रोने लगे और हाथ पर जोड़ने लगे कि हमें इंसाफ दिलाया जाए। पीड़िता ने जिस कांग्रेस नेत्री और उनके रिश्तेदारों पर षड्यंत्र कर संपत्ति हड़पने का आरोप लगाया है उनके खिलाफ जो साक्ष्य पीड़िता द्वारा मीडिया कर्मी को उपलब्ध कराया गया है उसकी डिटेल के साथ अगला भाग जल्द ही लेकर आएंगे….✒️✒️✒️

प्रार्थी द्वारा बताई गई खबर है उनके द्वारा दिए गए साक्ष्य और सबूतो के आधार में यह खबर लिखी गई है

 

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