रायपुर : नक्सलियों द्वारा किए गए आईईडी विस्फोट में शहीद हुए एएसपी आकाश राव गिरपुंजे का अंतिम संस्कार सोमवार को महादेव घाट स्थित श्मशान घाट में पूरे राजकीय सम्मान के साथ किया गया। शहीद को उनके सात वर्षीय बेटे सिद्धार्थ ने मुखाग्नि दी। इस दौरान घाट परिसर ‘भारत माता की जय’ और ‘अक्कू भैय्या जिंदाबाद’ के नारों से गूंज उठा।
अंतिम विदाई में उमड़ा जनसैलाब
इससे पहले शहीद आकाश गिरपुंजे को माना स्थित चौथी वाहिनी परिसर में अंतिम सलामी दी गई। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय, विधानसभा अध्यक्ष डॉ. रमन सिंह, उप मुख्यमंत्री विजय शर्मा और अरुण साव समेत कई जनप्रतिनिधियों और वरिष्ठ अधिकारियों ने शहीद को श्रद्धांजलि अर्पित की और पार्थिव शरीर को कांधा देकर अंतिम यात्रा में शामिल हुए।
पत्नी और परिजनों का बुरा हाल
गमगीन माहौल में शहीद की अंतिम यात्रा चौथी वाहिनी से श्मशान घाट तक निकाली गई। शहीद की पत्नी तिरंगे में लिपटे पार्थिव शरीर से लिपटकर फूट-फूटकर रोती रहीं। परिवार की अन्य महिलाएं उन्हें सांत्वना देने की कोशिश करती रहीं, लेकिन शोक का वातावरण हर किसी की आंखें नम कर गया।
राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार
श्मशान घाट पर शहीद को गार्ड ऑफ ऑनर दिया गया। इसके बाद उप मुख्यमंत्री एवं गृह मंत्री विजय शर्मा, विधायक राजेश मूणत, सांसद सुनील सोनी, पूर्व विधायक विकास उपाध्याय, पूर्व महापौर प्रमोद दुबे सहित बड़ी संख्या में आम नागरिकों और पुलिस अधिकारियों ने श्रद्धांजलि अर्पित की।
अंततः दादा जी की मौजूदगी में सात वर्षीय सिद्धार्थ ने अपने पिता को मुखाग्नि देकर अलविदा कहा, और एक बहादुर सिपाही हमेशा के लिए अमर हो गया।