राजनांदगांव

शीतला मंदिर में नवरात्र में भी नही हो पाया चबूतरे का निर्माण,महिलाए व बच्चे खुली खतरनाक छडो के बीच बैठने हो रहे मजबूर

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शीतला मंदिर में नवरात्र में भी नही हो पाया चबूतरे का निर्माण,महिलाए व बच्चे खुली खतरनाक छडो के बीच बैठने हो रहे मजबूर

राजनांदगांव (छत्तीसगढ वॉच)।नगरनिगम की महिमा अपरम्पार है। इस विभाग से जुडे कतिपय अधिकारी नगद सेवा के चक्कर में भगवान के दरबार को भी नही छोड रहे हैऔर अपना असली काम भूलकर आम जनता को होने वाली परेशानी से कोई वास्ता नही रखना चाहते है तो श्रद्धालुओ के बीच स्वाभाविक आकोश पनपता है । हम बात राजनांदगांव की सिध्दपीठ मां शीतला मंदिर की बात कर रहे है जहां महाकाल भगवान भोलेनाथ के त्रिशुल लगाने के नाम पर खेल शुरू हुआ था।एक तो वह स्थल ही अनुपयुक्त था पर श्रध्दालुओ के आकोश के बाद भी चन्द लोगो की राय लेकर आननफानन में उसे लगा दिया गया ।उसे लगाने के नाम पर गेनाईट के पुराने भव्य चबूतरे को तोडा गया और कई दिन की मशक्कत के बाद लेदेकर त्रिशुल की स्थापना हुई। फिर बात चबूतरे की आई।मंदिर के पुजारी राज दूबे ने महापौर से पूर्ववत गेनाईट वाले चबूतरे बनाकर देने की मांग की।महापौर ने आश्वासन दिया और टेडर भी हुआ ।बताया गया कि नवरात्र से पहले चबूतरा निर्माण कर गेनाईट लग जायेगा पर अब आज सप्तमी का दिन है पर आज तक चबूतरे का निर्माण कर गेनाईट नही लगा पाया है। यहां पर भाजपा व कांग्रेस के नेता लालबत्ती व धंधे की चाह मे मनोकामना के लिये रोज आते है परन्तु उनकी भी नजर ऐसी गडबडियो पर नही दिखती है । हर रोज यहां दर्शन करने वाले नगरनिगम अध्यक्ष हरिनारायण घकेता भी किसी के कुछ कहते ही देखकर नजर फेर लेते है।नेता प्रतिपक्ष नगरनिगम किशुन यदू भी इस मामले में खामोश होकर अपनी रोटी सेकने मे लगे है। आज पूर्व मुख्यमंत्री तथा विधानसभा अध्यक्ष डा रमन सिंह ने भी माता शीतला के दरबार में आकर पूजा अर्चना की पर शायद उन्हे भी अधिकारियो व नेताओ की ऐसी बडी गलती नजर नही आयी । चबूतरे में रेतीवाले स्थान पर नुकीले लोहे की छड पर पूरे नवरात्र में कई महिलाए व बच्चे छड पर मनमसोसकर बैठ रहे है। वही कई श्रद्दालू चाहकर भी यहां नही बैठ पाये। चार लाख के खर्च मे बनने वाले इस चबूतरे पर पहले खर्च हो चुके है जिसमे त्रिशुल की लागत बारह लाख है और उसे स्थापित करने के नाम पर डेढ लाख और लग चुका है। पंडित राज दुबे का कहना है कि नगरनिगम की महापौर व आयुक्त ने जो हमसे व जनता से वायदा किया था।उस पर वह खरे नही उतर पाये है।अब नवरात्र के बाद गेनाईट लगाने की बात की जा रही है।नगरनिगम के अधिकारियो का कहना है कि ठेकेदार के लोग काम नही कर रहे है। इसलिये अभी चबूतरा निर्माण के साथ गेनाइट नही लग पायेगा,यह सब बाद मे ही हो पायेगा।

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