प्रांतीय वॉच

परीक्षा पास करने के लिए 33 नहीं 40% लाने होंगे छत्तीसगढ़ में लागू नई शिक्षा नीति: कोर्स छोड़ने पर मिलेगा सर्टिफिकेट

Share this

छत्तीसगढ़ में इसी सत्र (2024-25) से नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति लागू हो रही है। इसके तहत स्नातक स्तर के सभी कोर्स में पढ़ाई सेमेस्टर में होगी। वहीं पासिंग मार्क्स में भी बदलाव किया गया है। यानी BA, BSc, BSc (होम साइंस), BCom, BCA और BBA में परीक्षा पास करने के लिए 33 की जगह 40 फीसदी अंक लाने होंगे।

नई शिक्षा नीति को इसी साल स्नातक प्रथम वर्ष से लागू किया जा रहा है। इसलिए पासिंग नंबर का नया सिस्टम सिर्फ UG (अंडर ग्रेजुएट) प्रथम वर्ष के लिए ही रहेगा। आंतरिक मूल्यांकन से 30 प्रतिशत अंक मिलेंगे, इसके लिए कॉलेज अपने स्तर पर टेस्ट लेंगे। वहीं 70 फीसदी अंकों के लिए सेमेस्टर परीक्षा होगी। दोनों को जोड़कर पास होने के लिए न्यूनतम 40 फीसदी लाना अनिवार्य है।

हालांकि अभी इंदिरा संगीत विश्वविद्यालय, खैरागढ़ ​​​​​और सुंदर लाल शर्मा ओपन यूनिवर्सिटी में इसे लागू नहीं किया जाएगा। दोनों विश्वविद्यालयों में अगले सत्र (2025-26) में लागू होगी। वहीं प्राइवेट परिक्षार्थियों को भी नियमित छात्रों की तरह ही हर छह-छह महीने में परीक्षा देनी होगी। साथ ही कॉलेजों में प्राइवेट छात्रों का भी इंटरनल एग्जाम होगा।

कोर्स छोड़ने पर मिलेगा सर्टिफिकेट

इस नीति के तहत अगर कोई स्टूडेंट UG फर्स्ट ईयर पास होने के बाद किसी वजह से पढ़ाई छोड़ देता है, तो उन्हें सर्टिफिकेट मिलेगा। दो साल में डिप्लोमा, तीन साल पूरा करने पर ग्रेजुएशन और चौथे वर्ष की पढ़ाई में ऑनर्स और आ​नर्स विथ रिसर्च की उपाधि मिलेगी।

प्राइवेट छात्रों को पहले कराना होगा रजिस्ट्रेशन

प्राइवेट छात्र के तौर पर यूजी फर्स्ट ईयर की परीक्षा में शामिल होने के लिए अब पहले ही रजिस्ट्रेशन करना होगा। इसके लिए आवेदन की प्रक्रिया अगस्त में शुरू होगी। इसमें छात्रों को यह बताना होगा कि किस कॉलेज से वे परीक्षा देंगे।रजिस्ट्रेशन और अन्य की फीस कितनी होगी, अभी यह तय नहीं है। उच्च शिक्षा विभाग के अधिकारियों का कहना है कि इसके लिए जल्द सूचना जारी होगी।
च्वॉइस बेस्ड क्रेडिट सिस्टम लागू होगा

उच्च शिक्षा सचिव आर प्रसन्ना ने बताया कि, प्रदेश में इसी सत्र से नई शिक्षा नीति लागू हो रही है। इसके अनुसार UG में कई बदलाव किए गए हैं। जैसे, यह कोर्स सेमेस्टर सिस्टम से चलेगा। ग्रेजुएशन 3 और 4 साल का होगा। इसमें च्वॉइस बेस्ड क्रेडिट सिस्टम लागू होगा।

तीन चरणों में लागू होगी नई शिक्षा नीति

प्रदेश में तीन चरणों में नई शिक्षा नीति लागू होगी। पहले चरण यानी इस सत्र से (2024-25) स्नातक स्तर, दूसरे चरण में सत्र 2025-26 और अग्रगामी सत्रों के लिए विषय संयोजन किया जाएगा। साथ ही विश्वविद्यालयों और महाविद्यालयों में कौशल केंद्र की स्थापना की जाएगी।

तीसरे चरण (सत्र 2026-27) में राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के सभी प्रावधान पूरी तरह लागू किए जाएंगे। विभिन्न विषयों की ऑनलाइन कक्षाओं का राज्य स्तर पर संचालन होगा। एकल संकाय महाविद्यालयों को बहु-संकाय महाविद्यालयों में परिवर्तित किया जाएगा।

Share this

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *