हिंदू धर्म( hindu dharm) में किसी भी कार्य को शुभ दिन, शुभ तिथि, शुभ मुहूर्त आदि को देखकर किया जाता है. इन सभी चीजों के बारे में पता लगाने के लिए पंचांग (Panchang) की आवश्यकता पड़ती है। जिसके माध्यम से आप आने वाले दिनों के शुभ( subh) एवं अशुभ समय के साथ सूर्योदय, सूर्यास्त, चन्द्रोदय, चन्द्रास्त, ग्रह, नक्षत्र आदि के बारे में विस्तार से जानकारी प्राप्त कर सकते हें।
दिन (Day) बुधवार
अयन (Ayana) उत्तरायण
ऋतु (Ritu) वसंत
मास (Month) चैत्र
पक्ष (Paksha) शुक्ल पक्ष
तिथि (Tithi) द्वादशी
नक्षत्र (Nakshatra) मघा प्रात:काल 09:37 बजे तक तदुपरांत पूर्वा फाल्गुनी
योग (Yoga) गण्ड प्रात:काल 11:15 बजे तक तदुपरांत वृद्धि
करण (Karana) बव सायंकाल 05:01 बजे तक तदुपरांत बालव
सूर्योदय (Sunrise) प्रात: 05 : 58 बजे
सूर्यास्त (Sunset) सायं 06:46 बजे
चंद्रमा (Moon) सिंह राशि में
राहु काल (Rahu Kaal Ka Samay) दोपहर 12:22 से 01:58 बजे तक
यमगण्ड (Yamganada) प्रात:काल 07:34 से 09:10 बजे तक
गुलिक (Gulik) प्रात:काल 10:46 से दोपहर 12:22 बजे तक
अभिजीत मुहूर्त (Abhijit Muhurt) —
दिशाशूल (Disha Shool) उत्तर दिशा में
भद्रा (Bhadra) प्रात:काल 05:02 बजे तक
पंचक (Pnachak) —
पंचांग के पांच अंगों – तिथि, नक्षत्र, वार, योग एवं करण के साथ राहुकाल, दिशाशूल (Dishashool) , भद्रा (Bhadra), पंचक (Panchank), प्रमुख पर्व आदि की महत्वपूर्ण जानकारी( important) प्राप्त करते हैं।

