कमलेश रजक/मुंडा : ब्लाक कांग्रेस कमेटी लवन के अध्यक्ष गुरुदयाल यादव ने प्रेस विज्ञप्ति जारी करते हुए कहा कि केन्द्र सरकार के मुनाफा खोरी नीति के कारण देश में महंगाई बेलगाम हुई है।आधी आबादी महिलाओं के आवाज को कुचलने का काम किया जा रहा है l
रसोई गैस के बढ़ती दामों से सबसे ज्यादा महिला बहनें परेशान – केंद्र सरकार की ओर से पेट्रोल एवं डीजल पर उत्पाद शुल्क मे नाममात्र कटौती किये और भाजपा के नेतागण ढिढोरा पीटने लग गये। टैक्सजीवी मोदी सरकार को जनता ने अच्छा सबक सिखाया। प्रजातंत्र में वोट की चोट से भाजपा को सच का आईना दिखा ही दिया। हाल के उपचुनावों में बीजेपी को बुरी तरह पटखनी मिली है। यही वजह है कि उसे पेट्रोल-डीजल के दामों में कमी किए जाने को मजबूर होना पड़ा है।
गुरुदयाल यादव ने आगे कहा कि याद करें कि मई 2014 में जब पेट्रोल 71.41 रुपये व डीजल 55.49 रुपये प्रति लीटर था, तब कच्चा तेल 105.71 डॉलर प्रति बैरल था। आज कच्चा तेल के कीमत पहले की तुलना में बहुत कम है। लेकिन पेट्रोल के दाम शतक के पार है। 2014 के बराबर कीमत कब होगी । 2014 के पहले केन्द्र के युपीए सरकार द्वारा पेट्रोल डीजल में एक्साइज ड्यूटी मात्र 9-10 रु लगता था लेकिन मौजूदा मोदी सरकार में 30-32रु एक्साइज ड्यूटी लगता है महज 5 – 10रु कम करके देश की जनता को गुमराह करने की कोशिश कर रही मोदी सरकार ।जनता की इतनी चिंता है तो मोदी सरकार पेट्रोल डीजल मे लगने वाली उत्पाद शुल्क 2014 के पहले लगने वाले वैट 9-10 रु के समानांतर करे पेट्रोल डीजल पहले की तरह 50-60 प्रति लीटर मिलने लगेगा।
मोदी सरकार के गलत नीति के कारण ही महंगाई बेलगाम हो गई है। पेट्रोल, डीजल, रसोई गैस सिलेंडर, फली तेल, सरसों तेल, दाल, दैनिक जीवन के हर आवश्यक वस्तुओं के दामों में लगातार महंगा हो रहा है। बढ़ती महंगाई पर केन्द्र सरकार ने अपने हाथ खड़े कर दिये और कहा कि महंगाई नियंत्रण हमारे हाथ में नहीं है और जब पेट्रोल डीजल पर 5 एवं 10 रुपये एक्साइज ड्यूटी घटा तो भाजपा के नेता मोदी के गुणगान में लग गये जबकि बेलगाम महंगाई तो मोदी की देन है। केन्द्र ने जो एक्साइज ड्यूटी क्रमशः 5 रु. एवं 10 रू. कम किया है जो अपर्याप्त है। पेट्रोल के दाम अभी भी शतक के पार है.। भाजपा के नेता किस मुंह से राज्य सरकार को टेक्स कम करने को बोल रहे है। केन्द्र सरकार द्वारा एक्साइज ड्यूटी कम की गई है वे लगभग एक तिहाई कम की है जबकि अभी भी दो तिहाई बढ़ी हुई। एक्साइज ड्यूटी केन्द्र सरकार वसूल रहा है और पिछले 2 साल से वसूल रहा है और यह जनता के साथ नाइंसाफी है।
हाल के उपचुनावों में बीजेपी को बुरी तरह पटखनी मिली है। यही वजह है कि उसे पेट्रोल-डीजल के दामों में कमी किए जाने को मजबूर होना पड़ा है। सबसे बड़े विडंबना है कि अभी तक गैस सिलेंडर के बढ़ती हुई दामों में कोई राहत नहीं। आधी आबादी महिलाओं के आवाज को कुचलने का काम किया जा रहा है। रसोई गैस के बढ़ती दामों से सबसे ज्यादा महिला बहनें परेशान है। इसके लिये भाजपा नेता कब जन विरोधी नरेंद्र मोदी सरकार को नींद से जगाने के लिए सोशल मीडिया में ट्वीटर ट्रैंड हैशटेग कब कर रहे हैं या सिर्फ जनता के सामने नौटंकी कर रहे है।

