रायपुर : नेशनल टाइगर कंजर्वेशन अथॉरिटी (NTCA) की तकनीकी समिति ने गुरु घासीदास टाइगर रिजर्व को मंजूरी दे दी है। जल्दी ही इसकी अधिसूचना जारी की जाएगी। बाघों के संरक्षण के लिए कोरिया जिले में स्थित गुरु घासीदास राष्ट्रीय उद्यान को टाइगर रिजर्व बनाने के प्रयास पिछले सात साल से चल रहे हैं। विशेषज्ञों का कहना है- कान्हा से अचानकमार टाइगर रिजर्व तक 115 किमी एरिया को टाइगर कॉरिडोर चिह्नांकित किया गया है। सरकार ने 2019 में इसका प्रस्ताव पारित किया। लेकिन, इसका स्पष्ट खाका तब भी तैयार नहीं था। इस साल 21 जून को हुई राज्य वन्य जीव बोर्ड की बैठक में गुरु घासीदास टाइगर रिजर्व का पूरा क्षेत्रफल और नक्शा पेश किया गया। इसका क्षेत्रफल 2 हजार 829 वर्ग किलोमीटर तय किया गया है। इसके कोर एरिया में 2 हजार 49 वर्ग किलोमीटर तथा बफर एरिया में 780 वर्ग किलोमीटर का जंगल होगा। बोर्ड की मंजूरी के बाद वन विभाग ने यह प्रस्ताव NTCA को भेज दिया। अब NTCA की तकनीकी समिति ने परीक्षण के बाद इस प्रस्ताव को अपनी मंजूरी दे दी है। वन विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया, एक अधिसूचना के बाद टाइगर रिजर्व अस्तित्व में आ जाएगा। छत्तीसगढ़ में अभी तक तीन टाइगर रिजर्व हैं। इनमें उदंती सीतानदी टाइगर रिजर्व, गरियाबंद, इंद्रावती टाइगर रिजर्व, दंतेवाड़ा और अचानकमार टाइगर रिजर्व, मुंगेली शामिल हैं। पिछली सरकार ने कवर्धा के भोरमदेव अभयारण्य को टाइगर रिजर्व बनाने का प्रस्ताव बनाया था, जिसका स्थानीय स्तर पर भारी विरोध था। सरकार ने 2019 में उस प्रस्ताव को ही खारिज कर दिया। गुरु घासीदास नेशनल पार्क कोरिया जिले के बैकुंठपुर सोनहत मार्ग पर पांच किलोमीटर की दूरी पर है। 2001 से पहले यह मध्य प्रदेश के सीधी स्थित संजय नेशनल पार्क का हिस्सा था। पार्क के अंदर हसदेव नदी बहती है और गोपद नदी का उद्गम है। पहाड़ों की शृंखला के अलावा साल, साजा, धावडा, कुसुम, तेंदू के पेड़ों और वनौषधियों से घिरे पार्क में बाघ, तेंदुआ, गौर, चिंकारा का प्राकृतिक निवास है। इसके भीतर 35 राजस्व गांवों में चेरवा, पंडो, गोंड़, खैरवार व अगरिया जनजातियां रहती हैं। टाइगर रिजर्व क्षेत्र में आमापानी, खेकड़ा माडा हिलटॉप, गांगीरानी माता की गुफा, नीलकंठ जलप्रपात बसेरा, आनंदपुर, बीजाधुर, सिद्धबाबा की गुफा, च्यूल जलप्रपात, कोहरापाट, छतोड़ा की गुफा प्रमुख दर्शनीय स्थल हैं।
गुरु घासीदास राष्ट्रीय उद्यान को टाइगर रिजर्व बनाने का रास्ता साफ, NTCA की तकनीकी समिति ने दी अनुमति
