भिलाई : कोरोना की वजह से अब शादी समारोह का स्वरूप बदल गया है। लोग सामाजिक दूरी बनाते हुए एक-दूसरे की पहले से ज्यादा फिक्र कर रहे हैं। ऐसा ही एक प्रेरक नजारा छत्तीसगढ़ में कवर्धा के सहसपुर लोहारा ब्लॉक के ग्राम टाटीकसा में देखने को मिला। यहां शुक्रवार को एक दूल्हा महज 3 बाराती लेकर अपनी दुल्हनिया से शादी रचाने के लिए पहुंचा। बिना बैंड-बाजा और दान दहेज के पूरे रीति-रिवाज के साथ मंदिर में दूल्हा-दुल्हन ने 7 सात फेरे लिए। शादी में भी वधू पक्ष से महज 10 लोग ही शामिल हुए। विवाह की रस्मों के दौरान मंदिर के भीतर सिर्फ दूल्हा-दुल्हन और पुजारी मौजूद थे। परिवार के शेष सदस्य मंदिर के बाहर बैठे थे। कोरोना गाइडलाइन का पालन करते हुए सारी रस्में पूरी की गई। सादगीपूर्वक हुए इस विवाह की पूरे गांव में सराहना हो रही है।
तीन माह पहले तय हुआ था रिश्ता
दूल्हा खेतलाल साहू सहसपुर लोहारा ब्लॉक के ग्राम दारगांव का रहने वाला है। उसकी शादी 3 महीने पहले टाटीकसा गांव के रहने वाले कांता साहू की बेटी सीमा से तय हुई थी। जब रिश्ता तय हुआ, तब कोरोना संक्रमण का उतना प्रकोप नहीं था। होली पर्व के बाद संक्रमण तेजी से बढ़ा। पहले से शादी की तारीख तय होने के कारण उसी मुहूर्त में शादी हुई।
रिश्तेदारों को आमंत्रण कार्ड भी नहीं बांटा
कोरोना के चलते शादी में सिर्फ 50 लोगों को शामिल होने की अनुमति दी जा रही है। लेकिन खेतलाल साहू संक्रमण काल में कोई जोखिम नहीं लेना चाहते थे। इसलिए शादी में शामिल होने के लिए किसी भी रिश्तेदार को आमंत्रण कार्ड नहीं बंटवाया। महज तीन लोगों को साथ लेकर शादी रचाने अपनी ससुराल पहुंच गया।
शादी की अनुमति के लिए लगी आवेदनों की झड़ी
कोरोना को देखते हुए प्रशासन ने शादी के लिए अनुमति अनिवार्य की है। अनुमति के लिए आवेदन तहसील कार्यालय में सीएससी व लोक सेवा केंद्र के माध्यम से ऑनलाइन किया जा रहा है। अब तक जिले के सभी तहसील कार्यालय में 1881 आवेदन आ चुके हैं, इसमें से 1230 को अनुमति भी दे दी गई है। कोरोना प्रोटोकाल का पालन करने की शर्त पर ही शादी के लिए अनुमति दी जा रही है। वैवाहिक समारोह में सभी को मिलाकर सिर्फ 50 लोग ही शामिल हो सकते हैं।