रायपुर : अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान, रायपुर के चिकित्सक और छात्र इन दिनों अस्पताल में आने वाले रोगियों और उनके परिजनों को दैनिक दिनचर्या में स्वच्छता अपनाने के गुर सिखा रहे हैं। ओपीडी में आने वाले लगभग 2500 रोगियों और उनके परिजनों को रोजाना हाथ धोने और मास्क के फायदे बताए जा रहे हैं। उनसे जीवन में स्वच्छता अपनाकर फैलते कोविड की रोकथाम का आह्वान किया जा रहा है। जागरूकता के यह कार्यक्रम 15 अप्रैल तक जारी रहेंगे।
एक अप्रैल से निदेशक प्रो. (डॉ.) नितिन एम. नागरकर के निर्देशन में स्वच्छता शपथ के साथ शुरू हुए कार्यक्रमों में रोजाना स्वच्छता को लेकर जागरूकता पैदा करने का प्रयास किया जा रहा है। कायाकल्प के नोडल ऑफिसर डॉ. मृत्युजंय राठौर के निर्देशन में चिकित्सकों और छात्रों का एक दल रजिस्ट्रेशन काउंटर पर आने वाले रोगियों और उनके परिजनों को हाथ धोने के सही सात चरणों के बारे में समझाता है। इसके साथ ही मेंसुरल हाइजिन, घर के कूड़े को अलग-अलग एकत्रित करना और कोविड के समय सोशल डिस्टेंसिंग, मास्क का प्रयोग और हाथों की स्वच्छता के बारे में भी रोगियों और उनके परिजनों को अवगत कराया जा रहा है।
इस दौरान नर्सिंग ऑफिसर के लिए ऑन लाइन कार्यशाला का आयोजन किया गया जिसमें उन्हें अस्पताल में खुद को इंफेक्शन से सुरक्षित रखने के उपायों के बारे में अवगत कराया गया। इसमें 57 नर्सिंग ऑफिसर्स ने ऑन लाइन भाग लिया।
इस अवसर पर स्वच्छता सर्वोपरि विषय पर भाषण प्रतियोगिता भी आयोजित हुई जिसमें एमबीबीएस और नर्सिंग छात्रों ने भाग लेकर स्वच्छता को स्वतंत्रता के समान जरूरी बताया। कार्यक्रम में उप-निदेशक (प्रशासन) अंशुमान गुप्ता, वित्त सलाहकार बी.के. अग्रवाल और डीन प्रो. एस.पी. धनेरिया सहित बड़ी संख्या में चिकित्सकों और कर्मचारियों ने भाग लिया। स्वच्छता पखवाड़े के कार्यक्रम 15 अप्रैल तक चलेंगे।