- अमलीपदर में आयोजित कुम्हार समाज के वार्षिक सम्मेलन एवं लोकार्पण समारोह मे पहुंचे आबकारी मंत्री कवासी लखमा
पुलस्त शर्मा / मैनपुर : मैनपुर विकासखंड के ग्राम अमलीपदर में आज रविवार को कुम्हार समाज जिला संगठन गरियाबंद के द्वारा जिला स्तरीय कुम्हार समाज सम्मेलन एवं सामुदायिक भवन लोकार्पण समारोह का आयोजन किया गया कुम्हार समाज द्वारा आयोजित इस कार्यक्रम में उद्योग, वाणिज्य एवं आबकारी मंत्री कवासी लखमा प्रमुख रूप से शामिल हुए जिनका कुम्हार समाज द्वारा 2 किमी दूर से कार्यक्रम स्थल तक गाजे बाजे फूल मालाओ के साथ जोरदार स्वागत किया गया। इस कार्यक्रम मुख्य अतिथि उद्योग, वाणिज्य एवं आबकारी मंत्री कवासी लखमा, अध्यक्षता छत्तीसगढ़ उड़ीसा कुम्हार समाज केंद्रीय कमेटी अध्यक्ष मोरध्वज चक्रधारी, विशिष्ट अतिथि गरियाबंद जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती स्मृति नीरज ठाकुर, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष महिला प्रकोष्ठ कुम्हार समाज श्रीमती शीला प्रजापति, गरियाबंद जिला पंचायत उपाध्यक्ष संजय नेताम, कांग्रेस कमेटी जिलाध्यक्ष भावसिंह साहू, अमलीपदर सरपंच सेवन पुजारी, वरिष्ठ सामाजिक कार्यकर्ता कार्तिक पांडे,़ अमलीपदर ब्लाॅक कांग्रेस अध्यक्ष श्रीमती ललिता यादव, युवा कांग्रेस अध्यक्ष पंकज मांझी विशेष रूप से उपस्थित थे। कुम्हार समाज द्वारा आयोजित सम्मेलन का शुभारंभ अतिथियों द्वारा भगवान चतुर्भुज विष्णु की छायाचित्र पर माल्यापर्ण विधिवत पूजा अर्चना कर किया गया पश्चात अतिथियों का समाज द्वारा विशाल गज माला के साथ स्वागत किया गया। कुम्हार समाज सामुदायिक भवन का लोकार्पण करते मुख्य अतिथि आबकारी मंत्री कवासी लखमा ने लोकार्पण समारोह को संबोधित करते हुए कहा कि कुम्हार समाज के लोग सीधे साधे सरल व परिश्रमी होते है इनके द्वारा बनाये गये बर्तन आज सभी वर्गो के दिनचर्या मे शामिल है लेकिन कुम्हार समाज आर्थिक रूप से पिछ़ड़.े हुए है जिन्हे आगे आना होगा। उन्होने कहा कि परंपरागत व्यवसाय के साथ ही अब अन्य क्षेत्रों में भी समाज की उपस्थिति जरूरी है इसलिये अपने बच्चो को उच्च शिक्षा दे युवा उच्चशिक्षा प्राप्त कर डाक्टर, इंजीनियर, कलेक्टर तथा राजनिति में भी अपनी जगह बनाएं शिक्षा के क्षेत्र में भूपेश बघेल की सरकार 12 वीं तक बच्चों को मुफ्त शिक्षा दे रही है साथ ही कुम्हार समाज को प्रोत्साहित करने चाक मे अनुदान भी दे रही है। जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती स्मृति ठाकुर ने कहा कि कुम्हार समाज का इतिहास गौरवशाली रहा है यह समाज परिश्रम के साथ साथ सभी आयोजनों मे बढ चढ कर भाग लेते है उन्होने सभी समाज जनो से शिक्षा व राजनीतिक क्षेत्र में आगे आने अपील किया। केंद्रीय कमेटी अध्यक्ष मोरध्वज चक्रधारी ने कहा कि वर्षो से कुम्हार समाज की आय का स्त्रोत मिट्टी से निर्मित वस्तुओं की बिक्री रहा है परन्तु मिट्टी हेतु भूमि ना होने की वजह से कुम्हार समाज को अधिक परिश्रम करना पड़ रहा है एवं कोरोना त्रासदी के चलते भी, कुम्हार समाज के लोगो को भीषण आर्थिक मार का सामना करना पड़ा। उन्होने कहा कि वर्तमान समय में संगठन ही शक्ति है हम एकसूत्र में बंध कर ही समाज के प्रत्येक क्षेत्र में अग्रणी भूमिका अदा कर सकते हैं। पदाधिकारियों ने सामाजिक स्तर ऊंचा उठाने के लिए शिक्षा पर जोर दिया साथ ही सदियों से चले आ रहे पुश्तैनी धंधा, मिट्टी से बनी कलाकृतियों को हाट-बाजार में प्रदर्शनी लगाने, बिक्री कराने के लिए जगह उपलब्ध करवाने पर भी चर्चा किया गया। इस दौरान कुम्हार समाज के पदाधिकारियों ने आबकारी वाणिज्य मंत्री कवासी लखमा से कुम्हार समाज को विशेष पिछड़ी जाति का दर्जा दिलाने की मांग करते हुए कुम्हारों को शासन के द्वारा प्रदत 5 एकड़ जमीन राजस्व विभाग के द्वारा प्रदान किया जाए, जिला स्तर पर माटी कला प्रशिक्षण केंद्र की स्थापना किया जाए, ईट बनाने मशीन प्रत्येक कुम्हारो को अनुदान दिया जाए, कुम्हारों के प्रत्येक परिवार को विद्युत चलित चाक प्रदाय किया जाए, छात्र छात्राओं के लिए उच्च शिक्षा हेतु जिला स्तर पर छात्रावास भवन स्वीकृति किया जाए, विकासखंड स्तर पर सामाजिक गतिविधि संचालन हेतु सामुदायिक भवन स्वीकृत किया जाए। इस दौरान प्रमुख रूप से जिला अध्यक्ष कुम्हार समाज वरूण चक्रधारी, उपाध्यक्ष खगेश्वर नागेश, जयलाल पांड़े, भूषण पांड़े, देवभोग परिक्षेत्र अध्यक्ष भंवर सिंह पांड़े, कांदाडोंगर अमलीपदर अध्यक्ष लोकनाथ चक्रधारी, दामोदर सोरी, उमेश पटेल, श्रवण सतपथी, राजेश जगत, गंगाराम पांड़े, जगदीश पांड़े, उदयनाथ पांड़े, उग्रेसिंह पांड़े, प्रेम चक्रधारी, निराकार पांड़े, राजेन्द्र पांड़े, गजेन्द्र चक्रधारी, लाकेश पांड़े, अनिल कुमार पांड़े, देवनाथ पांड़े, बसंत पांड़े, भीमसेन पांड़े, कमल चक्रधारी, नरेन्द्र पांड़े, रिपुसुदन चक्रधारी, देवशरण पांड़े, बलराम पांड़े, चैतन चक्रधारी, कैलाश चक्रधारी, विभीषण पांड़े, नरेश कुमार, पवित्रो पांड़े, दमयंती चक्रधारी, देवकी चक्रधारी, कौशिल्या चक्रधारी, कुन्ती चक्रधारी, हरेन्द्र पांड़े, वेदराम पांड़े, किशोर पांड़े, भुवन लाल पांड़े, महेश पांड़े, महेश पांड़े, लोचन चक्रधारी, भविता पांड़े, मुकेश चक्रधारी, राजेश चक्रधारी, इशोराम चक्रधारी सहित कुम्हार समाज के लोग बड़ी संख्या मे शामिल रहे।