गंडई पंडरिया : कोरोना काल में जहाँ आम आदमी का व्यपार मन्दा हो गया है वही अवैध कारोबार फलने फूलने लग गया है। मार्च में हुए लॉक डाउन के बाद एक ओर जहां बड़े छोटे सभी व्यपारी व्यपार में आये गिरावट से परेशान है वही दूसरी ओर सट्टे का बाजार गुलजार हो गया है। स्थिति ये है कि गंडई और साल्हेवारा सट्टे के बाजार का जोन बनता जा रहा। सूत्रों की माने तो महानगरों के बड़े खाईवाल भी अब गंडई और साल्हेवारा जैसे जगहों पर अपना पैसा लगा कर लाखो की कमाई कर रहे है। अभी बीते कुछ दिन पहले साल्हेवारा में चल रहे सट्टे के अवैध कारोबार को लेकर छात्र संगठन ने मोर्चा खोला था जिसके बाद शायद छुटपुट कार्यवाही पुलिस प्रशासन द्वारा किया गया था परंतु गंडई में बीते कुछ माह से सट्टे का बाजार बिना किसी रुकावट चल रहा है।
अवैध कारोबार से बढ़ता है क्राइम का ग्राफ
बुद्धजीवियों के अनुसार अवैध कारोबार से किसी भी नगर शहर या गाव में क्राइम का ग्राफ बढ़ जाता है। लोग सट्टे में अपना पैसा लगते है यदि उनका अंक आ गया तो खुशी में शराब पीना पार्टी करना और पैसे उड़ा देना बिना बात मारपीट करना यही काम होता है क्योंकि पैसा बिना मेहनत का मिल जाता है। यदि उनका अंक नही आया तो गम में शराब पीना घरेलू हिंसा करना जैसे क्राइम पनपने लगता है। कुल मिलाकर अवैध कारोबार से नगर का माहौल खराब होता चला जाता है। सट्टे को लेकर नगर में चर्चा का बाजार लगातार गर्म होता जा रहा है लोगो का कहना है कि सरकार की कथनी और करनी में बहोत फर्क है अवैध कार्य को रोकने सरकार ने बहोत से नियम बनाये है पर उन नियमो को सरकार के नुमाइंदे दरकिनार कर इस ओर कोई कार्यवाही नही करते है । गंडई साल्हेवारा में सट्टे के अवैध कार्यो पर लगातार लगाम लगाने की आवश्यकता है। एसडीओपी राजेश जोशी गंडई का इस मामले पर कहना है कि सूचना मिलने पर कार्यवाही किया जाएगा