रायगढ़ : नगर निगम रायगढ़ के आयुक्त ने रायगढ़ निगम कार्यालय में अधिकारी एवं कर्मचारियों को समझते हुए उनसे कार्य निष्पादित कराने पद एवं कार्यों का विभाजन किया जिसमें नगर निगम के काबिल विभाग प्रमुख विधि अधिकारी को राजस्व का प्रभार प्रदान किया गया ।
ज्ञात हो कि नगर निगम आयुक्त आशुतोष पांडे ने 3 माह में ही विभाग प्रमुखों की काबिलियत को परखते हुए विभागों से प्रभार बदलकर नये प्रभार दिए जिसमें निगम रायगढ़ के सबसे काबिल ईमानदार एवं जिम्मेदार अधिकारी सुतीक्षण यादव जिन्होंने अपने अनुभव और कार्य दक्षता के बल पर नगर निगम में विधि अधिकारी के पद पर रहकर संपूर्ण दायित्वों का निर्वहन विधि स्वरूप ही किया ।कार्यशैली के साथ अधिकारी कर्मचारी एवं अफसर इनके व्यक्तित्व के भी कायल रहते हैं सरल एवं खुशमिजाज सुतीक्षण यादव ने आदिम जाति विभाग रायपुर मैं सहायक विधि अधिकारी के पद पर 7 साल कार्य किया साथ ही रायगढ़ नगर निगम में फरवरी 2015 से विधि अधिकारी के पद पर पदस्थ हैं जहां पर इन्होंने निगम के अन्य विभागों के प्रभार जैसे स्थापना शाखा एवं कर्मचारी पेंशनर शाखा के प्राधिकृत अधिकारी तथा जन सूचना अधिकारी पद पर भी अपनी कार्यशैली से एक अलग पहचान बनाई।वर्तमान में नगर निगम आयुक्त आशुतोष पांडे ने निगम के राजस्व विभाग से पंकज मित्तल को भार मुक्त करते हुए विधि अधिकारी सुतीक्षण यादव को राजस्व विभाग का प्रभारी अधिकारी बनाया ,निश्चित ही इनके प्रभारी बनने से राजस्व विभाग सुदृढ़ होगी।अब सुतीक्षण यादव के लिये नगर निगम में वसूली के आंकड़ों को वर्तमान स्तर से बढ़ाना ही चुनौती होगी।
इस सत्र संपत्तिकर-की मांग 1266.73 वसूली- 211.05 तथा 16.66% में।
उसी तरह समेकितकर -की मांग 449.40 वसूली-72.54 तथा 16.14 % में।
जलकर की मांग-384.52 वसूली-139.53 तथा 36.29 %में।
लगभग 1500 दुकाने है जिनके किराया की मांग-111.77 वसूली-54.18 तथा 48.47 % में।
एवम अन्य में 607.97 वसूली-204.30 तथा 33.60 %में।
इस प्रकार राजस्व की कुल मांग 2820.39 कुल वसूली-681.60 तथा कुल 24.17 % है।
इस प्रकार बकायेदारों की वसूली बहुत कम है जिसे बढ़ाकर निगम की राजस्व में इजाफा लाना ही इनका प्रमुख उद्देश्य होगा।साथ ही निगम के अन्य विभागों से सामंजस्य स्थापित कर कार्य संपादित करना भी एक चुनौती होगी ,